नई दिल्ली: अखिल भारतीय आयुर्वेद संस्थान ‘एआईआईए‘ ने अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के 10वें संस्करण के उपलक्ष्य में ‘महिला सशक्तीकरण के लिए योग‘ विषय पर एक कार्यक्रम आयोजित किया. इस कार्यक्रम की मुख्य अतिथि प्रेरक वक्ता सिस्‍टर बीके शिवानी थी. उन्होंने आयुर्वेद और इससे संबद्ध विज्ञानों के संबंध में समाज के लिए क्रमबद्ध तरीके से अपनी सेवाओं के विस्तार के लिए संस्थान की भूमिका की सराहना की. उन्होंने कहा कि आज के युवाओं को मानवता की भलाई के लिए बदलाव लाने के लिए दृढ़ता और योग के महत्त्व को समझना चाहिए. उन्होंने जोर देकर कहा कि योग के अभ्यास से शांतिपूर्ण मन से व्यक्ति को समाज कल्याण के लिए बेहतर निर्णय लेने में मदद मिलती है. उन्‍होंने कहा कि सभी के सर्वांगीण विकास के लिए महिला सशक्तीकरण बहुत महत्त्वपूर्ण है. उन्होंने कहा कि किसी भी विकास में एक अस्पताल की तरह ही निरंतर प्रक्रिया अपनायी जानी चाहिए. इसके विकास में बुनियादी ढांचासंकाय और उनके मानव संसाधन विकास महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं. एआईआईए निदेशक प्रोफेसर डा तनुजा नेसारी ने उद्घाटन भाषण में संस्थान के बुनियादी ढांचे के महत्त्व के बारे में बताया. उन्होंने सभी से महिला सशक्तीकरणमार्गदर्शन और मनभावना और आत्माओं को मजबूत करने के लिए इस योग दिवस को मनाने का अनुरोध किया. आयुर्वेद के तरीके से जीवन जीने का अनुपालन करके अपने भीतर और बाहरी दुनिया के साथ एकजुट होने में मदद मिलती है.

नेसारी ने इस बात पर जोर दिया कि आयुर्वेद और योग एक ही सिक्के के दो पहलू हैं. इस परिप्रेक्ष्य में उन्होंने यह बताया कि आयुर्वेद योग का भौतिक पहलू है और योग आयुर्वेद का आध्यात्मिक पहलू है. उन्होंने सभी से न केवल पढ़ाने बल्कि योग और आयुर्वेद दोनों का अभ्यास करने का भी आग्रह किया. आयुष मंत्रालय की संयुक्त सचिव भावना सक्सेना ने इस अवसर पर मोरारजी देसाई राष्ट्रीय योग संस्थान के छात्रों के विभिन्न प्रदर्शनों की सराहना कीजिसमें योग फ्यूजन का जीवंत प्रदर्शन शामिल था. उन्होंने कहा कि महिला सशक्तीकरण एक समग्र अवधारणा है जिसमें आर्थिक के साथ-साथ आध्यात्मिक सशक्तीकरण भी शामिल है. अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस समारोह के हिस्से के रूप में एआईआईए ने चिकित्सीय योग पर एक पुस्तिका भी लोकार्पित की. एक 5-दिवसीय सामान्य योग प्रोटोकाल शामिल हैजिसे एआईआईए विद्वानों द्वारा दिल्ली के विभिन्न प्रतिष्ठित स्थानों पर प्रदर्शित किया जाएगा. इसमें आईटीबीपी के सहयोग से अंतर्राष्ट्रीय सीमाओं पर आयुर-योग को बढ़ावा दिया जाएगा. उत्तर पूर्व भारत में आईटीबीपी अधिकारियों और आयुष संस्थान द्वारा स्वास्थ्य शिविर व स्वास्थ्य किटों का वितरणवृद्धाश्रमों और एआईआईए के अस्पताल ब्लाक में योग जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे.इस कार्यक्रम के बाद वाई ब्रेक और योगा फ्यूजन का आयोजन किया गया. इस अवसर पर आयुष मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी और मोरारजी देसाई राष्ट्रीय योग संस्थान के निदेशक वैद्य डा काशीनाथ समागांडीपद्म श्री से सम्मानित कमलिनी अस्थाना और नलिनी अस्थाना के साथ ही एआईआईए के डीनवरिष्ठ संकाय सदस्य और सदस्य भी उपस्थित थे.