इंदौर: इंडेक्स मेडिकल कालेज एंड रिसर्च सेंटर के केंद्रीय ग्रंथालय में ‘साहित्यिक चोरी की रोकथाम‘ विषय पर एक परिचर्चा का आयोजन किया गया. इस कार्यक्रम को बौद्धिक संपदा अधिकार तथा साहित्यिक चोरी रोकथाम विषय के विशेषज्ञों डा प्रिया राय सहित कई शिक्षकों और छात्रों ने संबोधित किया. परिचर्चा की शुरुआत में कालेज के डीन डा जीएस पटेल ने बौद्धिक संपदा, उसके अधिकार और साहित्यिक चोरी के बारे में विषय की प्रस्तावना रखी. उन्होंने विस्तार से बताया कि आज के समय में बौद्धिक संपदा क्या है? उससे जुड़े अधिकार क्या हैं? और कब और कैसे इसकी चोरी होती है?
परिचर्चा की मुख्य वक्ता डा प्रिया राय का परिचय देते हुए राय ने बताया कि साहित्यिक चोरी तब मानी जाती है, जब हम किसी के द्वारा लिखे गए साहित्य को बिना उसका सन्दर्भ दिए अपने नाम से प्रकाशित कर लेते हैं. इस प्रकार से किया गया प्रकाशन साहित्य अनैतिक माना जाता है, और इसे साहित्यिक चोरी कहा जाता है. उन्होंने बताया कि आमतौर पर साहित्यिक चोरी से जुड़े कई ऐसे कानून हैं, जिनका उल्लघंन किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि शिक्षक और छात्रों को इनके कानूनी पहलुओं को समझने की जरूरत है. उन्होंने प्रतिभागियों को शैक्षणिक कार्य में साहित्यिक चोरी की पहचान करने और उससे बचने के उपायों के बारे में जानकारी दी.