ई-संवादी 22019-03-11T15:49:19+05:30

योग विश्व समुदाय को दिया गया भारत का अमूल्य उपहार, यह कैवल्य प्राप्त करने में सहायक: राष्ट्रपति मुर्मु

By |December 1st, 2023|Categories: ई-संवादी|

मुंबई: "प्राचीन भारत में गुरुकुलों में शिक्षा प्राप्त करने वाले अंतेवासी यानी विद्यार्थी बौद्धिक ज्ञान के साथ-साथ आध्यात्मिक ज्ञान प्राप्त करने के मार्ग पर भी आगे बढ़ते थे. भारत की प्राचीन [...]

गोपाल नारसन को मिला रामधारी सिंह दिनकर हिंदी सेवा सम्मान, साहित्य-शिक्षा जगत ने दी बधाई

By |December 1st, 2023|Categories: ई-संवादी|

रुड़की: विक्रमशिला हिंदी विद्यापीठ भागलपुर बिहार ने हिंदी साहित्य में विशेष सेवा, सारस्वत साधना व कलात्मक सोच के लिए साहित्यकार गोपाल नारसन को रामधारी सिंह दिनकर सम्मान से विभूषित किया है. [...]

आगरा के राष्ट्रीय पुस्तक मेला व साहित्य उत्सव में छात्रों और साहित्य प्रेमियों की जबरदस्त भागीदारी

By |December 1st, 2023|Categories: ई-संवादी|

आगरा: स्थानीय जीआईसी ग्राउंड में चल रहे राष्ट्रीय पुस्तक मेला व साहित्य उत्सव में साहित्य और पुस्तकप्रेमियों के साथ ही छात्रों का उत्साह देखते ही बन रहा है. बच्चों के [...]

उपराष्ट्रपति धनखड़ ने जी-20 थिंक क्विज़ फाइनलिस्ट प्रतिभागियों से कहा कि आप वैश्विक राजदूत बन गए हैं

By |November 30th, 2023|Categories: ई-संवादी|

नई दिल्ली: उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने जी-20 में 'यंग माइंड्स' की प्रभावशाली भागीदारी पर प्रकाश डालते हुए आज के समय में भारतीय युवाओं के पोषण के सर्वोच्‍च महत्त्व को रेखांकित किया. उन्होंने युवाओं [...]

भारतीय सिनेमा में महिला किरदारों के प्रति रूढ़िवादिता को तोड़ने की इच्छा मेरी प्रेरणा: विद्या बालन

By |November 30th, 2023|Categories: ई-संवादी|

नई दिल्ली: "अतीत में भारतीय फिल्म उद्योग में महिला कलाकारों द्वारा निभाए गए सभी असाधारण किरदार और उनकी और अधिक करने की इच्छा ने हमें उस स्तर पर पहुंचने के लिए [...]

मानवता के कल्याण को स्वयं के कल्याण से ऊपर रखने के लिए संथा भीमा भोई का दर्शन अधिक प्रासंगिकः धर्मेंद्र प्रधान

By |November 30th, 2023|Categories: ई-संवादी|

भुवनेश्वर: केंद्रीय शिक्षा और कौशल विकास एवं उद्यमिता मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने भुवनेश्वर में दो दिवसीय 'संथा कवि भीमा भोई और महिमा पंथ की विरासत पर अंतर्राष्ट्रीय संगोष्ठी' का उद्घाटन करते हुए [...]

आदिवासी लोग केवल दुख और संघर्ष को जीवन का पर्याय नहीं मानते: लानुसांगला त्जुदिर

By |November 30th, 2023|Categories: ई-संवादी|

रांची: आदिवासी साहित्य सिर्फ हिंसा झेल रहे प्रतिरोधी जीवन का बयान नहीं है, बल्कि यह पुरखों के जीवनदर्शन से प्रेरित सामूहिक स्मृतियों और सृजनात्मकता की अभिव्यक्ति है. आदिवासी लोग केवल दुख [...]

जीवन में भौतिकता और आध्यात्मिकता दोनों का संतुलन होना चाहिए: उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़

By |November 30th, 2023|Categories: ई-संवादी|

मुंबईः "भारत संस्कृति का केंद्र है, संस्कृति का स्पंदन है. हमारे पास 5000 वर्षों से भी अधिक पुरानी सभ्यता है. जी 20 के दौरान, एक पृथ्वी, एक ग्रह, एक परिवार-वसुधैव कुटुंबकम को विश्व ने देखा लेकिन, ऐसे महापुरुषों के कारण [...]

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