नई दिल्लीः राष्ट्रीय पुस्तक न्यास भारत और ऑल इंडिया रेडियो की एक्सटर्नल सर्विज़ेस डिविज़न ने कोरोना काल में स्टोरी लॉउन्ज के तहत उन पुस्तकों का पाठ साहित्य प्रेमियों को सुनवा रहा है, जो पुस्तकें एनबीटी ने छापी हैं. इस श्रृंखला में कई जाने-माने लेखकों की रचनाओं का पाठ हो रहा है. हिंदी और अंग्रेजी सहित अन्य भाषाओं के रचनाकार अपनी रचना का पाठ करते हैं. जिनका पुनर्प्रसारण करने के साथ ही नेशनल बुक ट्रस्ट अपने सोशल मीडिया, फ़ेसबुक पेज पर भी इन रचनाओं के वीडियो को अपलोड कर रहा है. जिन रचनाकारों ने इस शृंखला में अपनी रचनाएं अब तक पढ़ी हैं उनमें रमेश बिजलानी की कहानी 'काव्या का फ़ैसला', रंजीता विश्वास की कहानी 'म्युजिक ऑफ द हिल्स', सुदर्शन वशिष्ठ की कहानी 'बालक की सीख' शामिल है.
इसके अतिरिक्त श्रीकृष्ण कुमार त्रिवेदी की कहानी 'बड़ा मूर्ख कौन?', प्रत्यूष गुलेरी की कहानी 'दादी की दिलेरी', रमेंद्र कुमार की कहानी 'गुगल एक्सप्रेस', दीपा अग्रवाल की कहानी 'फ्लाइंग हार्स', गिजुभाई बधेका की कहानी 'अमवा भैया, नीमवा भैया', प्रताप सहगल द्वारा रचित कहानी 'हरियाली की रानी', कामाक्षी बालसुब्रमनियन की कहानी 'मुत्तु के सपने', गिजुभाई बधेका की कहानी 'मुफ़्त का माल', हरिसुमन बिष्ट की कहानी 'मेले की माया', दिविक रमेश की कहानी 'लूलू की सनक', संजीव जायसवाल 'संजय' की कहानी 'चंदा गिनती भूल गया' और जयंती रंगनाथन की कहानी 'भाग सनी भाग' आदि का पाठ हो चुका है. यह क्रम अभी भी जारी है.