नई दिल्लीः आज हिंदी साहित्य की दो बड़ी हस्तियों का जन्मदिन है. इलाचंद्र जोशी और राजकमल चौधरी. दोनों ने अपने वक्त में खूब लिखा, मूल लेखन के अलावा अनुवाद भी किया और अपनी खास पहचान बनाई. इलाचंद्र जोशी का जन्म 13 दिसंबर, 1903 ई. अल्मोड़ा में एक प्रतिष्ठित मध्यवर्गीय परिवार में हुआ. अल्मोड़ा जैसे प्राकृतिक रमणीय स्थान का इनके व्यक्तित्व और लेखन पर बहुत असर रहा. सन 1921 में शरद चंद्र चटोपाध्याय से इनकी भेंट से साहित्य का सफर शुरू हुआ. वह 'चाँद' के सहयोगी संपादक रहे और साल 1929 में 'सुधा' का संपादन किया. उनका पहला उपन्यास 1929 में प्रकाशित हुआ. आप 'कोलकाता समाचार', 'चाँद', 'विश्ववाणी', 'सुधा', 'सम्मलेन-पत्रिका', 'संगम', 'धर्मयुद्ध' और 'साहित्यकार' जैसी पत्रिकाओं के संपादन से भी जुड़े रहे. इलाचंद्र जोशी की प्रमुख रचनाओं में उपन्यास : लज्जा, संन्यासी, पर्दे की रानी, प्रेत और छाया, निर्वासित, मुक्तिपथ, सुबह के भूले, जिप्सी, जहाज का पंछी, भूत का भविष्य, ऋतुचक्र; कहानी संकलन् धुपरेखा, दीवाली और होली, रोमांटिक छाया, आहुति, खंडहर की आत्माएँ, डायरी के नीरस पृष्ठ, कटीले फूल लजीले काँटे; समालोचना तथा निबंध- साहित्य सर्जना, विवेचना, विश्लेषण, साहित्य चिंतन, शरत-व्यक्ति और कलाकार, रविंद्रनाथ, देखा-परखा खास हैं. इसके अलावा आपने दैनिक जीवन और मनोविज्ञान, ऐतिहासिक कथाएँ, उपनिषदों की कथाएँ, गोर्की के संस्मरण, इक्कीस विदेशी उपन्यासकार, महापुरुषों की प्रेम कथाएँ, सूदखोर की पत्नी तथा दोस्ताएव्सको की दो कहानियों का अनुवाद भी किया.

राजकमल चौधरी का जन्म 13 दिसंबर, 1929 को उत्तरी बिहार में मुरलीगंज के समीपवर्ती गांव रामपुर हवेली में हुआ था. उनका वास्तविक नाम मणीन्द्र नारायण चौधरी था, लेकिन स्नेह से लोग उन्हें फूलबाबू कह कर पुकारते थे. उनकी पहली हिन्दी कविता बरसात रात प्रभात सितंबर 1956 में नई धारामें, पहली कहानी सती धनुकराइन मार्च 1958 में कहानीमें और पहला निबन्ध भारतीय कला में सौन्दर्य- भावना जून 1959 में ज्ञानोदय में प्रकाशित हुआ. मैथिली में सन् 1954 से ही उनकी रचनाएं छपने लगी थीं. उनकी चर्चित रचनाओं में मछली मरी हुई, देहगाथा, नदी बहती थी, शहर था शहर नहीं था, अग्निस्नान, बीस रानियों के बाइस्कोप, एक अनार एक बीमार, ताश के पत्तों का शहर, सामुद्रिक और अन्य कहानियां, मछलीजाल, प्रतिनिधि कहानियां, कंकावती, मुक्ति प्रसंग, इस अकालबेला में और विचित्रा आदि शामिल हैं.